Astronomy
वद म खगल वजञन
Vedas are lightening pillars for human beings The light of Vedas has enlightened the path for welfare of Humunity The Vedas are unlimited reservoir of knowledge and all streams of knowledge and science have been highlighted in Vedas in the form of Sutras In scientific tradition some principles of Astronomy are mentioned in Vedas in the form of Sutras Actually Ganita Jyotish is the real astronomy
Under Astronomy the structure of space and its origin etc have been highlighted The unlimited space around the earth is called world An elaborate description of it is found in the Vedas There are many suns and solar systems in space and there are large no of suns revolving around them like our visible sun
The bomb of temperature gases and heavy quantum of gases are found around it It has four layers and Blackspots which are found in the fourth layer Sun is the only oldest source of Energy of the world The complete energy radiated by the sun is called the solar radiation It has been explored by Trit in the Rigveda From the sun Electromagnetic waves flow along with energy Ozone layer protects us from these EM waves Earth as well as all astronomic mass revolve around the sun and they are bound with each other through gravity force
Thus so many facts related with Astronomy have been clarified in this research paper on the basis of Vedic Mantras
वद भरतय ससकत क आतम ह य मनव जत क लए परकशसतमभ ह वद क जयत न ह मनव जत क समननत क मरग परशसत कय ह वद जञन क अथह भणडर ह इसम जञन और वजञन क सभ वधओ क सतर रप म उललख ह अत एव मन क कथन ह क सरवजञनमय ह स1
शबद रचन क दषट स ह वद शबद जञनरथक ह वद आधभतक आधदवक आधयतमक इन तरवध अरथ क परतपदक परषरथ चतषटय क सधक समसत जञनवजञन क सवहक तथ भरतय ऋषय मनषय क परतयकषजञन क महन आदरश ह वदरप जञनमहदध म अगन स लकर सर ऊरज नभकय ऊरज भगरभय ऊरज इतयद बहमलय रतन परपत हत ह
वदङग जयतष क अरथ ह ह खगल वजञन सरय चनदर नकषतर आध आकशय पदरथ क गणन जयतरमय पदरथ म ह इनस समबदध वजञन क जयतरवजञन अथव खगल वजञन कहत ह यजरवद क अनसर भ जयतष खगल वजञन ह ह इसम गरह नकषतर क अधययन हत ह
परजञनय नकषतरदरशनम2
खगल वजञन8211 इसक अनतरगत अतरकष क सरचन व इसक उतपतत क अधययन कय जत ह पथव क चर ओर सथत अननत अतरकष क वशव कह जत ह वद म इसक वसतत ववचन परपत हत ह इस परपतर म खगल वजञन स सवधत नमनलखत तथय क ववरण ह
सरय ह ससर क ऊरज क सरत ह Solar Radiation सरय ह वयमणडल एव पथव पर मलन वल उषम क अजसर सरत ह और इसस वकरत क जन वल समपरण ऊरज क सर वकरण Solar Radiation कह जत ह यह बत ऋगवद म कह गय ह
सरय आतम जगतसतसथषशच3
यह आतम शबद ह ऊरज क बधक ह कयक वरतमन वजञनक भष म ऊरज वह ह ज कस वसत म करय क कषमत ह उस ऊरज कहत ह और कषमत आतम म हत ह कस करय क समपदक करन क लए आतमक ऊरज क महत आवशयकत हत ह इस परकर यह सरय समपरण वशव क अजसर ऊरज क सरत ह
आज क वजञन भ सलन रडयशन क मनत ह यह सर वकरण चर ओर अतरकष म फलत ह और सरय स 15 करड कम क औसत दर पर सथत हमर पथव भ इसक क सकषम अश 2 अरबव भग परपत करत ह फर भ पथव क परपत हन वल यह सकषम अश बहत महतवपरण ह और इस स पथव क समपरण भतक एव जवक घटनए नयतरत हत ह
अतरकष म अनक सरय तथ सरमणडल Solar System8211 सरय क चर ओर चककर लगन वल वभनन गरह उपगरह धमकतओ कषदर गरह तथ अनक आकशय पणड क समह य परवर क सरमणडल कहत ह परनत वजञनक न इस बत क पषट क ह क दषयमन सरय क सदश अतरकष म अनक सरय ह तथ उनक परकरम अनय आकशय पणड कर रह ह
ऋगवद म यह बत हजर सल पहल ह कह द गय ह
सपत दश ननसरय दव आदतय य सपत4
अथरववद म भ यह बत कह गय ह
यसमन सरय अपत सपत सकम5
सरय क चर ओर वशल गस समह सरय पथव क सबस नकटतम क तर ह यह तपत गस क गल ह जसक नरमण 74 हइडरजन 25 हलयम तथ 1 अनय तततव क सयग स बन हआ ह इसक मल सरचन अनय चर क सदश ह ह इसक दरवयमन 2 x 1030 कगर ह सरय क दरशनय भग परकश मणडल कहलत ह जसक सतह क तप 5800 हत ह इस मणडल स ऊपर क परत वरणमणडल हत ह ज करट म वलन ह जत ह यह सकरय गस क वशल समह ह इस वरणमणडल क तपमन 4300 स 4000000 स ब अधक हत ह
ऋगवद म दरघतमस ऋष क कथन ह क मन यगदषट स दख क सरय क चर ओर शकतशल गस क समह ह
शकमय धमम आरद अपशयम वषवत पर एनवरण6
सरय क सतह पर धबब Spots in Sun8211 सरय क ऊपर परत चर गसय परत स ढक हई ह व ह 1 करन 2 करमसफय 3 रवसग लयर 4 फटसफयर
फटसफयर सरय क चथ तथ सबस आभयनतर परत ह सरय पर दखई दन वल धबब इस परत पर दख जत ह इस सतह क तपमन द करड डगर सनटगरड ह
ऋगवद म वरणन ह क सरय क चकष मणडल घर रजस धल स आवत ह
सरयसय चकष रजसववततम7
सर ऊरज Solar Energy8211 सरय तथ बरहमणड क अनय तर क ऊरज क सरत वह हन वल नभकय सलयन ह सलयन क सदधनत क वरतमन म जरमन क द वजञनक हल एव सटरसमन न अनवषत कय ह उनक अनसर यद यरनयम पर नयटरन क बमवर क जयत त नभक द खणड म वभजत ह जत ह य दन खणड समन आकर क हत ह तथ इनक दरवयमन सखय 74 स 162 क मधय हत ह नभकय सलयन स परपत नभक क दरवयमन सलयन स परव नभक क दरवयमन स कम हत ह दरवयमन म हई यह कम दरवयमन ऊरज समकरण क अनसर ऊरज म परवरतत ह जत ह
सरय क अधकश बग हईडरजन एव हलयम क बन हआ ह तथ इसक भतर क भग क तप करब 170 डगर कलवन हत ह इतन अधक तप पर हईडरजन नभक क सलयन हत ह तथ अपर ऊरज मकत हत ह 1938 म अमरक वजञनक बथ न बतय क सरय पर द तरह क सलयन परकरय परटन व करबन नइटरजन चकर हत ह सरय जस दर स ऊरज उतसरजत कर रह ह उसस अनमन लगय जत ह क वह अभ 1000 करड वरष तक इस दर स ऊरज उतसरजत करत रहग
ऋगवद म सर ऊरज क आवषकर और सफल परयग क शरय तरत क दय गय ह तरत म तन दवत ह इनदर गनधरव और वस ह
तरत एनम आयनक इनदर एन परथम अधयतषठत
गनधरव असय रशनम अगभयत सरदशव वसव नरतषठ8
इसम अशवम पद सर ऊरज क बधक ह आज भ ऊरज क अशव शकत म मगत ह
सरय स वदयत चमबकय तरग क परवह जन तरग क सचरण क लए कस मधयम क आवशयकत नह हत तथ ज तरग नरवत म भ सचरत ह सकत ह उनह वदयत चमबकय तरग कहत ह य करण ह गम एकस परबगन दशय वकरण अवरकत करण लघ रडय तरग वयरलस तरग ह वरतमन म एकस करण क खज रञजन नमक वजञनक न क ह परबगन क खज रटर न क थ यह करण मनव जवन क लए सबस खतरनक ह दशय वकरण क खज नयटन न क थ अवरकत करण क खज हरशल न क थ हरतस क खज 1888 म हरव न तथ वयरलस क खज मरकन न 1896 म क थ
इन करण क सरय स परभवत हन क वरणन ऋगवद म मलत ह ऋगवद म वरणन ह क सरय क करण क सथ मतर और वरण एक ह रथ पर बठकर चलत ह मतर शबद धनतमक आवश और वरण ऋणतमक आवश लए ह य दन मलकर ह वदयत चमबकय तरग परवहत करत ह इन तरग क दवर परवहत शकत क लए दत शबद क परयग कय गय ह इस दत क अततवरगम कह गय ह इस मतर म अजर शबद बहत सकरय अरथ क बतत ह और मदरध शबद अततवरत क बतत ह इस ऊरज म चमबकतव क लए अयशरष शबद आय ह
ओजन परत ओजन O3 आकसजन क तन परमणओ स मलकर बननवल गस ह ज क वतवरण म बहत कम मतर म 002 म पय जत ह जह नचल वतवरण म पथव क नकट इसक उपसथत परदषण बढन वल ह और मनव ऊतक क लए नकसनदह ह वह ऊपर वयमणडल म इसक उपसथत परमवशयक ह इसक सघनत 10 लख म 10व हसस ह यह गस परकतक रप स बनत ह जब सरय क करण वयमणडल क ऊपर सतह पर आकसजन स टकरत ह त उचच ऊरज वकरण स इनक कछ हसस ओजन म परवरतत ह जत ह पथव क धरतल क 2030 कम क ऊचई पर वयमणडल क समतप मणडल कषतर म ओजन गस क एक झन आवरण ह जस ओजन परत कहत ह यह परत परयवरण क रकषक ह तथ सरय क परबगन करण क आन स रकत ह
ऋगवद म पथव क चर ओर वदयमन ओजन परत क उललख ह इसक लए महत उलव शबद आय ह
महत तदलब सथवर तदसत
यनवषटत परववशथप9
बरहमणड क परतयक परमण गतशल ह वद क अनसर बरहमणड क परतयक परमण गतशल ह यथ पथव सरय क चककर लगत ह इसक वरणन ऋगवद क दसव मणडल म मलत ह
कष शषण पर परदकषणत10
यह बत वजञन भ कहत क इस वशव क समसत परमण गतशल ह यद उसक गत रक गय त वह कस अनय म जकर वलन ह जयग पहल वजञन क यह मनयत क सरय सथर ह तथ परतयक अतरकष क गरहउपगरह इतयद उसक परकरम करत ह परनत आज वजञन क यह कहन क सरय भ अपन अकष पर परकरम करत ह तथ 25 दन म वह अपन एक परकरम पर कर लत ह
वशव क परतयक परमण म आकरषण शकत ह8211 कवलर क खगलय परकषण क आधर पर गरह क समबनध म तन नयम परतपदत कय गय ह
1 परतयक गरह सरय क चर ओर दरघ वततकर ककष म परकरमण करत ह तथ सरय ककष क फकस पर हत ह
2 कस भ गरह क सरय स मलन वल रख समन समयनतरल म समन कषतरफल पर करत ह जब गरह सरय क समप हत ह त चल अधकतम और जब दर हत ह उसक चल नयनतम हत ह
3 कस गरह क परकरमण कल क वरग सरय स उसक दर औसत दर क धन क वयतकरमनपत हत ह
नयटन क गरतवकरषण नयम क अनसर 1687 बरहमणड म परतयक पणड दसर पणड क अपन ओर आकरषत करत ह सरय क चर ओर घमत हए गरह क घमन क लए आवशयक अभकनदरय बल इस आकरषण बल स परपत हत ह
ऋगवद क अनक मतर म यह उललखत ह क सरय अपन आकरणण बल स पर दयलक क रक हए ह
क सरयण उततभत दय11
ख असकमभन सवत दयम अदहत12
एक सथन पर यह वरणत ह क सरय अपन करणरप यतर स पथव क रक हए ह सवत यनतर पथवम अरमणत13
सरय क करण सत रग क ह तथ उस क सर रग बनत ह अथरववद क कथन ह क सरय क सतवरण क करण ह
अव दवसतरयनत सपत सरयसय रशमय14
इनह करण स ससर क सर रग बनत ह
य तरषपत परयनत वशव रपण बभरत15
चनदरम म परकस सरय स ह परपत हत ह यजरवद क कथन ह क सरय क सषमण नम क करण चनदरम क परकशत करत ह यसक न नरकत म भ उललख कय ह क सरय क एक करण चनदरम क परकशत करत ह
1 सषमण सरयरशमशचनदरम गनधरव16
2 आदतयतऽसय दपतरभवत17
गरह क उललख अथरववद म श न दवचर गरह18 म आकशय गरह क उललख ह एक मनतर19 म चर गरह क नम दय य ह चनदरम सरय रह धमकत य कत शतपथ बरहमण20 म अषट गरह क दवर आठ गरह क नरदश ह
इस परकर वद म खगल वजञन स समबनधत अनक तथय क ववचन परपत हत ह
nbsp
सनदरभत गरनथ
1 ऋगवद सहत वदक शध सशधन मणडल पन सयण भषय सहत 1972
2 वदक सहतय एव ससकत कपलदव दववद वशववदयलय परकशनचकवरणस 200
3 अथरववद सहत सतवलक सबधभषय
4 वदग जयतष 8211 लगधकत टएस कपपनसवम नई दलल 1985
5 समनय वजञन यनक परकशन 2004
nbsp
सनदरभ
1 मनसमत 27
2 यजरवद 3090
3 ऋगवद 11151
4 ऋगवद 11143
5 अथरववद 13310
6 ऋगवद 116443
7 ऋगवद 16414
8 ऋगवद 1632
9 ऋगवद 11151
10 ऋगवद 10511
11 ऋगवद 12214
12 ऋगवद 10851
13 ऋगवद 101491
14 अथरववद 71071
15 अथरववद 111
16 यजरवद 1840
17 नरकत 26
18 अथरववद 1997
19 अथरववद 19910
20 शतपथ बरहमण 14621
Km Bindu
Department of Sanskrit
Banaras Hindu University
Vijnana Bharati
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वद म जयतष शरओमपरकशज पलवल
भकमप क जयतषय वशलषण Samhita Jyotisha mein Bhookampa ki SthitiGirija Shankar Shastri
वदक बरहमणड खगलशसतर च Vedic Cosmology and Astronomy Sachichidananda Mishra